शिक्षा से जिंदगी संवारी, सेवा में सारी उम्र गुजारी,90 वर्षीय शिक्षाविद् ज्ञानमल शर्मा को ‘शतायु सम्मान


बीकानेर, 17 जुलाई। सामाजिक सरोकारों की अग्रणी संस्था कल्याण फाउंडेशन ऑफ इंडिया ने बीकानेर के प्रख्यात शिक्षाविद्, 90 वर्षीय ज्ञानमल शर्मा का उनके निवास स्थान पर जाकर ‘शतायु सम्मान’ किया। उन्हें शाल, श्रीफल, माला और प्रतीक चिन्ह भेंट कर उनके स्वस्थ और दीर्घायु जीवन की शुभकामनाएं दी गईं। फाउंडेशन की निदेशक कामिनी विमल भोजक मैया ने इस अवसर पर ज्ञानमल शर्मा की प्रशंसा करते हुए कहा कि वे संतुलित और नियमित जीवन जीने वाले व्यक्ति रहे हैं। उन्होंने कहा, “शिक्षा के माध्यम से इन्होंने हजारों बच्चों के जीवन को सही दिशा दी। सेवा करना ज्ञानमल जी का शुरू से ही ध्येय रहा। इनका जीवन सीखने योग्य है, ये हमारी पूंजी हैं।”




पर्वतारोही आर.के. शर्मा ने बताया कि ज्ञानमल जी आज भी अपना जीवन उसी तरह नियमित और संतुलित तरीके से जीते हैं, जैसा वे अपने शुरुआती जीवन में रखते थे। उनके पढ़ाए अधिकांश बच्चे आज अपने जीवन के बेहतरीन मुकाम पर हैं और आज भी उनका सम्मान करते हैं। वरिष्ठ समाजसेवी सत्यदेव शर्मा ने उल्लेख किया कि सेवानिवृत्ति के बाद भी उन्होंने लंबे समय तक समाज सेवा का कार्य किया और उनका मुख्य ध्येय बच्चों का शिक्षा के माध्यम से सर्वांगीण विकास कैसे हो, इस पर केंद्रित रहा। शाकद्वीपीय ब्राह्मण संघ के सचिव एडवोकेट जितेंद्र भोजक ने ज्ञानमल जी के जीवन वृत्त पर आधारित एक कविता का वाचन किया।


लोगों के काम आना मेरा सिद्धांत – ज्ञानमल शर्मा
सम्मान ग्रहण करते हुए श्री ज्ञानमल शर्मा ने कहा कि उन्होंने सदा यह माना है कि अगर आपके पास कोई ऐसी वस्तु है जिसके माध्यम से आप कई अन्य लोगों का भला कर सकते हैं, तो उसका भरपूर उपयोग करते हुए लोगों के काम आने का कार्य करना चाहिए। उन्होंने कहा कि आज तक वे अपने इस सिद्धांत को निभाते आ रहे हैं। उन्होंने 90 वर्ष की आयु में मिले इस सम्मान के लिए सभी उपस्थित लोगों का हृदय से साधुवाद किया और उनके सफलतम, स्वस्थ जीवन का आशीर्वाद दिया। इस अवसर पर नितिन वत्सस, गंगासिंह, निर्मल कुमार शर्मा, ललित मोहन शर्मा, श्रीमती छोटा देवी, श्रीमती मधु शर्मा, खुश भोजक, नताशा सहित अनेक गणमान्य व्यक्ति मौजूद रहे।