थाने में ज्वेलर की संदिग्ध मौत पर बवाल, परिजनों ने लगाया हत्या का आरोप, पुलिस की कार्यशैली पर उठे सवाल



उदयपुर, 5 अगस्त। राजस्थान के उदयपुर जिले का ऋषभदेव थाना एक बार फिर विवादों में घिर गया है। सोमवार को थाने में सुरेश पंचाल (55), निवासी बिछीवाड़ा (डूंगरपुर) नामक एक ज्वेलर की संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत ने पुलिस की कार्यशैली पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। परिजनों ने इसे ‘मर्डर’ बताते हुए पुलिस पर मानसिक और शारीरिक प्रताड़ना का आरोप लगाया है, जिसके बाद जमकर बवाल हुआ। परिजनों का आरोप: पूछताछ के नाम पर टॉर्चर से हुई मौत
सुरेश पंचाल को चोरी का सामान खरीदने के शक में पुलिस द्वारा थाने लाया गया था। मृतक के बेटे हिमांशु पंचाल ने दावा किया है कि पुलिस ने उनके पिता को घंटों तक पूछताछ के नाम पर मानसिक और शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया। उन्होंने बताया कि पहले गोवर्धन विलास थाना पुलिस ने धमकाया और फिर ऋषभदेव थाने में उन पर लगातार दबाव बनाया गया, जिसके चलते उनकी तबीयत बिगड़ी और अस्पताल में मौत हो गई। परिजनों का स्पष्ट आरोप है कि यह स्वाभाविक मौत नहीं, बल्कि पुलिस द्वारा की गई प्रताड़ना का परिणाम है।




रातभर प्रदर्शन, मुआवजे और नौकरी की मांग
घटना के सामने आते ही सुरेश पंचाल के परिजनों और उनके समाज के लोगों ने ऋषभदेव थाने और अस्पताल के बाहर विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया। प्रदर्शनकारियों की मुख्य मांग है कि मृतक सुरेश पंचाल के बेटे को सरकारी नौकरी दी जाए और परिवार को उचित मुआवजा मिले। देर रात तक प्रशासन और परिजनों के बीच बातचीत का दौर चलता रहा, लेकिन कोई ठोस समाधान नहीं निकल पाया।


व्यापारी समाज में आक्रोश, भविष्य के लिए चेतावनी
इस घटना से उदयपुर के व्यापारी समाज में भी गहरा आक्रोश है। उदयपुर सर्राफा एसोसिएशन के अध्यक्ष यशवंत आंचलिया ने पुलिस की कार्रवाई की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि व्यापारी समुदाय को बेवजह निशाना बनाया जा रहा है। उन्होंने प्रशासन से मांग की कि भविष्य में किसी भी व्यापारी से पूछताछ करने से पहले उनके संगठन को सूचित करना अनिवार्य किया जाए, ताकि ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकी जा सके।
पुलिस का पक्ष और निष्पक्ष जांच का भरोसा
उदयपुर एसपी योगेश गोयल ने पूरे मामले पर निष्पक्ष जांच का भरोसा दिलाया है। उन्होंने अपनी ओर से स्पष्टीकरण देते हुए कहा कि ज्वेलर सुरेश पंचाल को केवल पूछताछ के लिए थाने लाया गया था। एसपी के अनुसार, पूछताछ के दौरान उनकी अचानक तबीयत बिगड़ गई, जिसके बाद उन्हें तुरंत अस्पताल ले जाया गया, जहाँ उनका निधन हो गया। अब सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण सवाल यही है कि क्या सुरेश पंचाल की मौत वास्तव में पुलिस हिरासत में प्रताड़ना के कारण हुई, या यह महज एक दुखद संयोग था? इस रहस्य की परतें विस्तृत और निष्पक्ष जांच के बाद ही खुलेंगी, जिस पर सभी की निगाहें टिकी हुई हैं।