गुजरात की राजनीति में बड़ी सर्जरी मुख्यमंत्री को छोड़कर सभी मंत्रियों ने दिया इस्तीफा, मंत्रिमंडल के बड़े बदलाव की तैयारी



अहमदाबाद , 16 अक्टूबर 2025. गुजरात के मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्र पटेल ने राज्य सरकार में एक बड़े बदलाव की प्रक्रिया शुरू की है। इसके तहत, मुख्यमंत्री को छोड़कर सभी मंत्रियों ने अपने-अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है। इस्तीफा देने वाले: मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल को छोड़कर मंत्रिमंडल के सभी 16 मंत्रियों (कैबिनेट और राज्य मंत्री) ने इस्तीफा दिया है।




समय: यह सामूहिक इस्तीफा 16 अक्टूबर 2025, गुरुवार को मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल के आवास पर हुई एक महत्वपूर्ण बैठक के बाद दिया गया।



इस्तीफे का कारण: यह कदम राज्य में भाजपा की नई सरकार बनाने और मंत्रिमंडल में नए चेहरे लाने की तैयारी का हिस्सा है। लोकसभा चुनाव 2024 के परिणामों के बाद पार्टी राज्य स्तर पर एक नई रणनीति के तहत फेरबदल करना चाहती है। इस्तीफे का मुख्य कारण राज्य सरकार द्वारा मंत्रिमंडल का बड़ा विस्तार और फेरबदल करना है। भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) संगठन राज्य में एक नई टीम बनाना चाहती है। माना जा रहा है कि यह कदम राज्य में आगामी चुनावों (जैसे नगर निगम चुनाव) से पहले सत्ता विरोधी लहर को कम करने, प्रशासनिक दक्षता बढ़ाने और युवा चेहरों को मौका देने के लिए उठाया गया है।
किसने दिया इस्तीफा: राज्य मंत्रिमंडल के सभी कैबिनेट मंत्रियों और राज्य मंत्रियों ने मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल को अपना इस्तीफा सौंप दिया। इनमें गृह मंत्री हर्ष संघवी, वित्त मंत्री कनु देसाई, और कृषि मंत्री रगुराज पटेल जैसे वरिष्ठ मंत्री शामिल हैं।
मुख्यमंत्री का इस्तीफा नहीं: यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने इस्तीफा नहीं दिया है। उन्होंने राज्यपाल से मुलाकात की और मंत्रिमंडल के विस्तार/पुनर्गठन की प्रक्रिया शुरू की है।
अगला कदम: अब मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल एक नए मंत्रिमंडल का गठन करेंगे। उम्मीद है कि नए मंत्रिमंडल में कुछ पुराने चेहरों को बरकरार रखने के साथ-साथ कई नए चेहरों को भी शामिल किया जाएगा। नए मंत्रियों के नामों की घोषणा जल्द ही होने की संभावना है।
पृष्ठभूमि और संभावित कारण:
लोकसभा चुनाव परिणाम: भाजपा ने गुजरात की सभी 26 लोकसभा सीटें जीतीं, लेकिन पार्टी कुछ सीटों पर मतों के अंतर में कमी से संतुष्ट नहीं थी। माना जा रहा है कि इस फेरबदल का उद्देश्य सरकार के प्रदर्शन में सुधार लाना और 2027 के विधानसभा चुनावों से पहले पार्टी को मजबूत करना है।
सामूहिक इस्तीफे की रणनीति: यह भाजपा की एक सामान्य रणनीति रही है जब वह किसी राज्य में बड़े पैमाने पर मंत्रिमंडल में बदलाव करना चाहती है। इससे मुख्यमंत्री को एकदम नई टीम बनाने का पूरा अवसर मिल जाता है।
नई ऊर्जा और जवाबदेही: पार्टी राज्य सरकार में नए चेहरे लाकर प्रशासन में ताजगी लाना और विभिन्न विभागों के कामकाज की समीक्षा करना चाहती है।
शपथ ग्रहण समारोह
नए मंत्रिमंडल का शपथ ग्रहण समारोह अगले दिन, शुक्रवार, 17 अक्टूबर को गांधीनगर में आयोजित होने की संभावना है। ऐसी अटकलें हैं कि इस नए मंत्रिमंडल में कई नए चेहरों को जगह मिल सकती है और कुछ पुराने मंत्रियों को बाहर किया जा सकता है। कुछ रिपोर्ट्स के अनुसार, बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह भी शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हो सकते हैं। गुजरात में मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल के नेतृत्व में एक नई सरकार बनने जा रही है। यह फेरबदल भाजपा की राज्य स्तर पर अपनी स्थिति मजबूत करने और आगामी चुनौतियों के लिए तैयार होने की रणनीति का हिस्सा लग रहा है। अब सभी की निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि नए मंत्रिमंडल में किन नेताओं को जगह मिलती है। यह कदम गुजरात की राजनीति में एक बड़ी सर्जरी (बड़ा फेरबदल) के तौर पर देखा जा रहा है, जिससे मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल को छोड़कर उनकी पूरी टीम बदल जाएगी।

