पुलिस कस्टडी में युवक की संदिग्ध मौत के बाद हंगामा, SHO सहित 23 पुलिसकर्मी लाइन हाजिर

shreecreates

बारां, राजस्थान, 29 जुलाई। राजस्थान के बारां जिले के किशनगंज थाने में पुलिस हिरासत में हत्या के आरोपी लोकेश सुमन (उम्र 26 वर्ष) की संदिग्ध मौत का मामला सामने आया है। इस घटना ने पुलिस प्रशासन पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। मृतक के परिजनों ने पुलिस पर मारपीट का आरोप लगाते हुए हत्या का मुकदमा दर्ज करने, 1 करोड़ रुपये मुआवजे और सरकारी नौकरी की मांग की है। परिजन अभी तक शव को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में ही रखे हुए हैं, जिससे गतिरोध बना हुआ है।                                           मामले की गंभीरता और पुलिस की कार्रवाई
मामले की गंभीरता को देखते हुए जिला पुलिस अधीक्षक अभिषेक अंडासु ने तत्काल कार्रवाई करते हुए किशनगंज थाने के SHO विनोद मीणा सहित पूरे स्टाफ (कुल 23 पुलिसकर्मियों) को लाइन हाजिर कर दिया है।

indication
L.C.Baid Childrens Hospiatl
SETH TOLARAM BAFANA ACADMY

हिरासत में मौत और परिजनों के आरोप
लोकेश सुमन को 26 जुलाई को बबलू मीणा की हत्या के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। उसे न्यायालय में पेश करने के बाद 5 दिन की पुलिस रिमांड में भेजा गया था। रिमांड अवधि के दौरान ही 28 जुलाई को उसकी संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई। मृतक के भाई राजेंद्र माली ने आरोप लगाया है कि लोकेश पूरी तरह स्वस्थ था और उसे कोई बीमारी नहीं थी। राजेंद्र ने बताया कि 26 जुलाई को वे लोकेश से मिलने गए थे, लेकिन पुलिस ने उन्हें मिलने नहीं दिया। उन्होंने पुलिस पर मारपीट का आरोप लगाते हुए कहा कि इसी के चलते लोकेश की मौत हुई। परिजनों ने भंवरगढ़ और किशनगंज थाने के पुलिसकर्मियों के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज करने की मांग की है।

pop ronak

गतिरोध जारी
जूडिशियल मजिस्ट्रेट की मौजूदगी में सोमवार को शव का पोस्टमार्टम हो चुका है, लेकिन परिजनों ने इसे उठाने से इनकार कर दिया है। पहले परिजनों ने देर रात होने का हवाला देकर शव मंगलवार को उठाने की बात कही थी, लेकिन मंगलवार सुबह उन्होंने मुआवजे और नौकरी की मांग रख दी, जिससे गतिरोध बना हुआ है। जिला कलेक्टर रोहिताश्व तोमर और एसपी अभिषेक अंडासु मौके पर पहुंचे और परिजनों से बातचीत की, लेकिन मामला अभी तक सुलझा नहीं है।

लोकेश सुमन की गिरफ्तारी का मामला
पुलिस के अनुसार, 23 जुलाई को किशनगंज के रामगढ़ रोड पर बबलू मीणा का शव लहूलुहान हालत में मिला था। जांच में सामने आया कि बारां निवासी लोकेश सुमन ने बबलू से पैसे उधार लिए थे और उन्हें चुकाने में आनाकानी कर रहा था। इसके अलावा, उसने एक अन्य व्यक्ति की कार गिरवी रखवाकर पैसे उधार दिलाने की कोशिश की थी। इसी विवाद में लोकेश ने बबलू के साथ शराब पी और फिर पत्थर व लकड़ी से उसकी हत्या कर दी। हत्या के बाद वह सांवरिया सेठ घूमने चला गया था। पुलिस ने शनिवार को उसे गिरफ्तार किया था। यह घटना राजस्थान पुलिस की हिरासत में होने वाली मौतों पर एक बार फिर सवाल खड़ा करती है और पारदर्शिता व जवाबदेही की मांग को तेज करती है।

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *