मुख्यमंत्री पुनर्वास गृह में ‘महिला एवं बालिका कल्याण दिवस’ पर संगोष्ठी आयोजित



बीकानेर, 5 अक्टूबर । महिला एवं बालिका कल्याण दिवस के अवसर पर आज मुख्यमंत्री पुनर्वास गृह कामकाजी महिला छात्रावास में एक संगोष्ठी (सेमिनार) का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का उद्देश्य महिलाओं और बालिकाओं के अधिकारों और सरकारी योजनाओं के प्रति जागरूकता बढ़ाना था।
कानूनी अधिकार और निःशुल्क सहायता
कार्यक्रम की शुरुआत भाजपा शहर अध्यक्ष सुमन छाजेड़, विधिक सहायता प्रकोष्ठ के मनोज सुरोलिया, और युवा भारत संस्थान की संचालिका श्रीमती इंदु पांडेय द्वारा माँ सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण और दीप प्रज्वलन से हुई।संगोष्ठी को संबोधित करते हुए मनोज सुरोलिया ने महिलाओं और बालिकाओं के कानूनी अधिकारों पर विस्तार से चर्चा की।उन्होंने बताया कि विधिक सेवा प्राधिकरण जरूरतमंदों को निःशुल्क विधिक सहायता प्रदान करता है। किसी भी समस्या की स्थिति में महिलाएं 15100 हेल्पलाइन नंबर पर संपर्क कर तत्काल सहायता प्राप्त कर सकती हैं। उन्होंने महिलाओं से निर्भय होकर अपनी बात रखने और किसी भी घटना को न छुपाने का आह्वान किया।




सशक्तिकरण के लिए शिक्षा और सरकारी योजनाएं
मुख्य अतिथि सुमन छाजेड़ ने महिला सशक्तिकरण के लिए शिक्षा को अनिवार्य बताया और कहा कि जब तक महिला शिक्षित और सशक्त नहीं होगी, तब तक देश सशक्त नहीं हो सकता। उन्होंने राजस्थान सरकार और सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग द्वारा चलाई जा रही विभिन्न योजनाओं की जानकारी दी, जिनमें प्रमुख हैं- जन धन योजना, श्रमिक कार्ड योजना, उज्ज्वला योजना। उन्होंने कामकाजी महिला छात्रावास जैसी योजनाओं को महिलाओं के लिए वरदान बताया। युवा भारत संस्थान एवं मुख्यमंत्री पुनर्वास गृह की संचालिका इंदु पांडेय ने बताया कि आवास गृह में 75 महिलाओं के रहने की व्यवस्था है, जहाँ आवास, बिजली और पानी की निःशुल्क सुविधा उपलब्ध है। इस सुविधा का लाभ बी.एड., जी.एन.एम., बी.टेक जैसी पढ़ाई कर रही ग्रामीण और गरीब छात्राएं उठा सकती हैं। संस्था सचिव दिनेश पांडेय ने सभी का आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम का सफल संचालन जितेंद्र कुमावत और गोपाल पवार ने किया।



