गर्लफ्रेंड से ठगी करने वाला शातिर आरोपी गिरफ्तार, एक भाई IAS तो दूसरा IPS


खुद को बताया था गृह मंत्रालय का सलाहकार




जयपुर, 15 जुलाई। राजस्थान की राजधानी जयपुर में सोशल मीडिया के जरिए दोस्ती कर ठगी और ब्लैकमेलिंग का एक बड़ा मामला सामने आया है। एक युवक ने खुद को केंद्रीय गृह मंत्रालय का सलाहकार और अपने परिवार को उच्च पुलिस अधिकारी बताकर एक युवती को अपने जाल में फंसा लिया। आरोपी ने पहले दोस्ती की, फिर विश्वास जीतकर 15 लाख रुपये की मांग की और इनकार करने पर जबरन डायमंड का नेकलेस और ब्रेसलेट छीन लिया।


खुद को बताया डीसीपी, गृह मंत्रालय का सलाहकार और IPS का भाई
जयपुर ईस्ट डीसीपी तेजस्वनी गौतम (IPS) ने बताया कि आरोपी की पहचान करौली जिले के हिंडौन सिटी के मनेमा गांव निवासी नीरज कुमार पुत्र भगवान सहाय के रूप में हुई है। पीड़िता की शिकायत पर जयपुर एयरपोर्ट थाने में मामला दर्ज किया गया था। जांच में सामने आया कि आरोपी ने फेसबुक पर युवती को दीपक शर्मा नाम से फ्रेंड रिक्वेस्ट भेजी थी। उसने खुद को गृह मंत्रालय में सलाहकार, अपने पिता को पुलिस अधिकारी और भाई को गोवा कैडर का IPS बताकर युवती का भरोसा जीता। मैसेंजर पर लगातार चैटिंग के जरिए उसने पीड़िता को अपने विश्वास में लिया।
15 लाख की मांग, धमकी और जबरन लूट
करीब एक महीने की बातचीत के बाद, आरोपी ने युवती से सीधे 15 लाख रुपये की डिमांड कर डाली। जब युवती ने यह रकम देने से मना किया, तो आरोपी ने उसे धमकियां देना शुरू कर दिया। वह बार-बार फोन कर युवती को मानसिक रूप से प्रताड़ित करने लगा। परेशान होकर युवती जयपुर आई और जवाहर सर्किल पर आरोपी से मिलने को तैयार हुई। मुलाकात के दौरान जब युवती ने रुपये नहीं होने की बात कही, तो आरोपी गुस्से में आ गया और उसके हाथ से डायमंड का नेकलेस और ब्रेसलेट जबरन छीन लिया। उसने युवती को यह भी धमकी दी कि अगर किसी को इस बारे में बताया तो वह उसे ‘उठवा’ लेने की कार्रवाई करवा देगा।
कई थानों का वांटेड निकला आरोपी
पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज खंगाले और आरोपी की पहचान की। उसे दुर्गा कॉलोनी, जवाहर सर्किल थाना क्षेत्र से गिरफ्तार कर लिया गया। उसके पास से छीना गया डायमंड सेट, ब्रेसलेट और एक कार बरामद की गई है। पुलिस जांच में सामने आया कि आरोपी पहले भी कई थानों में ठगी के मामलों में वांछित था। यह मामला सोशल मीडिया का उपयोग करने वालों के लिए एक बड़ी सीख है कि वे इसकी चमक-धमक के पीछे छिपे जालसाजों से सावधान रहें। जयपुर पुलिस की तत्परता से एक और फर्जी अधिकारी का भंडाफोड़ हुआ है, जिसने सोशल मीडिया को हथियार बनाकर मासूम युवतियों को निशाना बनाना शुरू किया था।