हरियाणा के नूंह में दो पक्षों के बीच हिंसक झड़प: पथराव, आगजनी में 10 घायल



राजस्थान पुलिस बुलाई गई
नूंह, 13 अगस्त। हरियाणा के नूंह जिले के फिरोजपुर झिरका में मंगलवार शाम को दो समुदायों के बीच एक मामूली विवाद ने हिंसक झड़प का रूप ले लिया। इस दौरान छतों से पथराव किया गया, कांच की बोतलें फेंकी गईं, एक बाइक को आग के हवाले कर दिया गया और कई दुकानों में भी आग लगा दी गई। इस हिंसा में करीब 10 लोग घायल हुए हैं।
हालात को नियंत्रित करने के लिए राजस्थान सीमा से सटे थानों की पुलिस को भी बुलाया पड़ा। इसके बावजूद तनाव बरक़रार रहा, जिसके बाद इलाके में पुलिस की दो कंपनियां तैनात कर दी गईं हैं।




विवाद की जड़: एक मामूली बहस से भड़की हिंसा


झगड़े की शुरुआत फिरोजपुर झिरका के गांव मुड़ाका में हुई। मंगलवार शाम को पास के गांव का इसरा का बेटा अपनी कार सड़क के बीच में खड़ी कर कोल्ड ड्रिंक पी रहा था। गांव का ही समय सिंह बाइक से वहाँ पहुँचा और उसे रास्ता साफ करने को कहा। कुछ ही पलों की बहस जल्द ही बढ़ गई, और इसरा के बेटे ने कार से उतरकर कोल्ड ड्रिंक की बोतल समय सिंह के सिर पर दे मारी, जिससे उसका सिर फट गया और खून बहने लगा।
खून से लथपथ समय सिंह ने अपने भाई को मौके पर बुलाया। इसके बाद इसरा के बेटे ने समय के भाई पर फावड़े से हमला कर दिया, जिससे वह भी बुरी तरह घायल हो गया। इस घटना से हालात और बिगड़ गए, और समय सिंह ने अपने अन्य परिजनों को भी बुला लिया। घटना की खबर फैलते ही दोनों तरफ से लोग इकट्ठा होने लगे, और भीड़ में गुस्सा तेजी से बढ़ने लगा, जिसके परिणामस्वरूप दोनों पक्ष आपस में भिड़ गए।
सांप्रदायिक रंग और आगजनी
गांव के सरपंच राम सिंह ने बताया कि झगड़े में दोनों पक्षों के दो-दो लोग घायल पड़े थे, और देखते ही देखते विवाद को हिंदू-मुस्लिम रंग देने की कोशिशें शुरू हो गईं। गांव के दोनों ओर के लोग अपने घरों की छतों पर चढ़ गए और एक-दूसरे पर पथराव और कांच की बोतलें फेंकने लगे। सड़क पर हर तरफ टूटे कांच और पत्थरों का ढेर लग गया, जिससे पूरे गांव में दहशत का माहौल बन गया। इस हिंसा में करीब 10 लोग घायल हुए हैं।
इसके बाद, गुस्साई भीड़ समय और उसके भाई पर हमला करने वाले इसरा के घर में घुस गई और उसकी बाइक को बाहर निकालकर सड़क पर आग के हवाले कर दिया। जवाब में, इसरा के पक्ष के लोगों ने हिंदू समुदाय की दुकानों में आग लगा दी, जिससे आसपास के घरों में लोग खौफ से दरवाजे-खिड़कियां बंद करने लगे। इस आगजनी में हजारों रुपए का नुकसान हुआ है।
पुलिस कार्रवाई और पिछली हिंसा
करीब डेढ़ घंटे तक पथराव और आगजनी का सिलसिला चलता रहा। शुरू में स्थानीय पुलिस ने समझाने की कोशिश की, लेकिन भीड़ बेकाबू रही। हालात बिगड़ते देख, पाँच थानों की पुलिस को मौके पर बुलाया गया, जिसमें राजस्थान सीमा से सटे थानों की टीम भी शामिल थी। इसके बाद ही स्थिति पर काबू पाया गया और दोनों पक्षों को अलग किया जा सका। मौके पर अभी भी स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है।
झड़प में एक पक्ष के चुन्नीलाल, गोपाल, लेखराज, वीर सिंह, फूलचंद, हंसराज और दूसरे पक्ष के खुर्शीद, फरहान व शाहबाज घायल हुए हैं। इनका इलाज फिरोजपुर झिरका के स्थानीय अस्पताल में चल रहा है, जिनमें से कुछ की हालत गंभीर बताई जा रही है।
गौरतलब है कि नूंह में 2023 में बृजमंडल यात्रा के दौरान भी दंगा भड़क गया था, जिसमें 2 गुटों के टकराव के बाद 3 दर्जन से अधिक गाड़ियों को आग लगा दी गई थी, पुलिस पर भी पथराव हुआ था, और साइबर थाना पर भी हमला किया गया था। उस हिंसा में 7 लोगों की मौत हुई थी और कई घायल हुए थे। इस मामले में पुलिस ने करीब 61 मुकदमे दर्ज किए थे, जिनमें से कुछ में UAPA भी लगाया गया था, जो दो होमगार्ड और एक बजरंग दल कार्यकर्ता की हत्या से जुड़ा था।