राजस्थान में 15 दिन के बच्चे से क्रूरता: जंगल में फेंका, मुंह में पत्थर भर फेवीक्विक से चिपकाया



भीलवाड़ा , 25 सितम्बर। राजस्थान के भीलवाड़ा में मानवता को शर्मसार करने वाली एक घटना सामने आई है, जहाँ एक 15 दिन के नवजात बच्चे को जंगल में मरने के लिए फेंक दिया गया। क्रूरता की हद तो तब हो गई जब उसकी आवाज़ दबाने के लिए उसके मुँह में पत्थर भर कर फेवीक्विक से चिपका दिया गया।




दर्दनाक हालत में मिला मासूम
मंगलवार दोपहर, मांडलगढ़ के बिजौलिया में सीता का कुंड मंदिर के पास एक चरवाहे को पत्थरों के ढेर के बीच से बच्चे के रोने की आवाज़ सुनाई दी। उसने जब पत्थर हटाए तो देखा कि बच्चा तड़प रहा है। उसके मुँह में पत्थर फँसा था और उसके होंठ फेवीक्विक से चिपकाए गए थे। इस दौरान बच्चे का एक पैर भी गर्म पत्थरों से जल गया था।



चरवाहे ने तुरंत अन्य लोगों की मदद से बच्चे को बिजौलिया के सरकारी अस्पताल पहुँचाया, जहाँ से उसे भीलवाड़ा के हायर सेंटर रेफर कर दिया गया।
अस्पताल में चल रहा इलाज
भीलवाड़ा जिला अस्पताल में बच्चे को ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखा गया है, और उसकी हालत गंभीर बनी हुई है। शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. इंदिरा सिंह ने बताया कि बच्चे का वज़न तीन किलो है और वह कमज़ोर है, और उसके शरीर में संक्रमण फैल गया है।
संक्रमण बच्चे की पूरी बॉडी में फैला
भीलवाड़ा जिला हॉस्पिटल की शिशु रोग विशेषज्ञ (HOD) डॉ. इंदिरा सिंह ने बताया- बच्चे का वजन तीन किलो है, लेकिन वह अभी कमजोर है। फिलहाल कुछ भी कहना मुश्किल है। मामले की रिपोर्ट कलेक्टर को सौंप दी गई है।
पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है और बच्चे के माता-पिता की तलाश कर रही है। पुलिस आसपास के गाँवों और अस्पतालों में पिछले 15 दिनों में हुई डिलीवरी का डेटा खंगाल रही है, ताकि दोषियों तक पहुँचा जा सके।

